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तत्सम और तद्भव शब्द की परिभाषा,पहचानने के नियम और उदहारण - Tatsam Tadbhav

तत्सम शब्द (Tatsam Shabd) : तत्सम दो शब्दों से मिलकर बना है – तत +सम , जिसका अर्थ होता है ज्यों का त्यों। जिन शब्दों को संस्कृत से बिना...

बच्चों के क्या नाम रखे है .....????

बच्चों के क्या नाम रखे हैं.......?

भाषण देने कभी गया था , मथुरा के कोई कॉलिज में ,

रस्ते भर खाने के पैसे बचा लिए थे, और ख़रीदे थे जो मैंने ,
जन्मभूमि वाले मंदिर से ,मुझे देख जो मुस्काते थे ,
नटखट शोख़ इशारे कर के , तुम्हे देख जो शरमाते थे ,
सहज रास आखोँ में भर के,आले में चुपचाप अधर पर वेणु टिकाये ,
अभी तलक़ क्या वो छलिया घनश्याम रखे हैं....?
बच्चों के क्या नाम रखे हैं.......?
आँसू की बारिश में भीगे ,ठोड़ी के जिस तिल को मैंने ,
विदा-समय पर चूम लिया था ,और कहा था 'मन मत हारो ' ,
तुम से अनगाया गाया है , तुमको खो कर पर भी पाया है ,
चाहे मैं दुनिया भर घूमूँ , धरती भोगूँ , अम्बर चूमूँ ,
इस तिल को दर्पण में जब भी कभी देखना, यही समझना ,
ठोड़ी पर यह तिल थोड़ी है ,जग-भर की नज़रों से ओझल ,
मेरी भटकन रखी हुई है ,मेरे चारों धाम रखे हैं ,
सच बतलाओ नए प्रसाधन के लेपन में, चेहरे की चमकीली परतों ,
के ऊपर भी जिसमे तुमको 'मैं' दिखता था , गोरे मुखड़े वाली,
चाँदी की थाली में अबतक भी क्या मेरे शालिग्राम रखे हैं ?
बच्चों के क्या नाम रखे हैं.......?
सरस्वती पूजन वाले दिन , मेरा जन्म-दिवस भी है जो ,
बाँधी थी जो रंग-बसन्ती वाली साड़ी ,फाल ढूंढ़ने को जिस का मैं ,
तीन-तीन बाज़ारों तक़ खुद ,दौड़-दौड़ कर फ़ैल गया था ,
बी. एड. की गाईड हो या हो लव-स्टोरी की वी.सी.डी. ,
मौसी के घर तक़ जाने को ,सीट घेरनी हो जयपुर की बस में चाहे ,
ऐसे सारे गैर-ज़रूरी काम ,ज़रूरी हो जाते थे, एक तुम्हारे कहने भर से ,
अब जिस के संग निभा रही हो ,हँस-हँस कर अनमोल जवानी ,
उस अनजाने उस अनदेखे ,भाग्यबली के हित भी तुमने ,
ऐसे ही क्या गैर-ज़रूरी काम रखे हैं ...?

बच्चों के क्या नाम रखे हैं...….?

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