इस नासा साझेदारी के तहत, नोकिया पहली बार अल्ट्रा-कॉम्पैक्ट और लो-पॉवर्ड एंड-टू-एंड LTE सोल्यूशन का निर्माण करेगा.
नासा ने चंद्रमा पर पहली बार सेलुलर नेटवर्क बनाने के लिए नोकिया को एक भागीदार के तौर पर चुना है, जिससे चंद्र सतह पर एक स्थायी मानव उपस्थिति की दिशा में मार्ग प्रशस्त होगा.
नोकिया ने यह घोषणा की है कि, चंद्रमा के लिए "टिपिंग प्वाइंट" टेक्नोलॉजीज़ को आगे बढ़ाने के लिए नासा द्वारा इसे भागीदार के तौर पर नामित किया गया था, ताकि अंतरिक्ष में पहला LTE/ 4G संचार प्रणाली तैनात किया जा सके.
नोकिया इस मिशन के लिए ग्राउंडब्रेकिंग संचार नेटवर्क को चंद्र लैंडर में एकीकृत करने और इसे चंद्र सतह तक पहुंचाने के लिए टेक्सास स्थित इंट्यूएटिव मशीनों के साथ साझेदारी करेगा.
लंबे समय तक चलने वाला नेटवर्क
इस नेटवर्क को अत्यधिक विषम परिस्थियों में लॉन्च करने और चंद्र लैंडिंग स्थितियों के साथ-साथ अंतरिक्ष में संचालन के लिए सक्षम बनने के लिए डिज़ाइन किया जाएगा. यह अंतरिक्ष पेलोड के सभी आकार, वजन और शक्ति की कमी को पूरा करते हुए, चंद्रमा की तरफ़ एक अत्यंत कॉम्पैक्ट (छोटे) रूप में भेजा जाएगा.
मुख्य विशेषताएं
इस नासा साझेदारी के तहत, नोकिया पहली बार अल्ट्रा-कॉम्पैक्ट और लो-पॉवर्ड एंड-टू-एंड LTE सोल्यूशन का निर्माण करेगा. इस टेक्नोलॉजी को नोकिया बेल लैब्स के अग्रणी नवाचारों द्वारा विकसित किया जाएगा.
नोकिया की इस चंद्र प्रणाली में एक LTE बेस स्टेशन, LTE यूसर उपकरण, RF एंटिना और उच्च-विश्वसनीयता संचालन और रखरखाव (O&M) नियंत्रण सॉफ्टवेयर शामिल होंगे.
इस वायरलेस तकनीक को ऐसे डिज़ाइन किया जाएगा कि, यह चंद्रमा पर पहली बार LTE संचार प्रणाली की स्थापना के लिए तैनात होने के समय खुद को ‘सेल्फ़-कॉन्फ़िगर’ करेगा.
यह महत्वपूर्ण संचार क्षमतायें प्रदान करेगा, जो रियल टाइम नेविगेशन, चंद्र रोवर्स के रिमोट कंट्रोल, महत्वपूर्ण आदेश और नियंत्रण कार्यों और हाई डेफिनिशन वीडियो स्ट्रीमिंग का समर्थन करेगा.
ये संचार अनुप्रयोग, अपने आर्टेमिस कार्यक्रम के तहत वर्ष 2024 तक चंद्रमा पर मनुष्यों को बसाने की नासा की योजना के अनुसार चंद्र सतह पर एक दीर्घकालिक मानव उपस्थिति के लिए बेहद महत्वपूर्ण हैं.
अंतरिक्ष यात्रियों को किसी भी तरह की गतिविधि के लिए चंद्र सतह पर वायरलेस कनेक्टिविटी प्रदान करने के लिए नोकिया का यह LTE नेटवर्क आदर्श साबित होने की उम्मीद जताई जा रही है.
यह टेलीमेट्री और बायोमेट्रिक डाटा एक्सचेंज, वोयस और वीडियो संचार क्षमताओं को हासिल करने के साथ-साथ रोबोट और सेंसर पेलोड को तैनात करने और नियंत्रित करने की अनुमति भी देगा.
चंद्र सेटलमेंट्स (बस्तियां)
मनुष्यों के चंद्रमा पर जाने से पहले वायरलेस ब्रॉडबैंड संचार प्रणाली को वर्ष 2022 के अंत तक चंद्र सतह पर तैनात किए जाने की उम्मीद है. नासा ने वर्ष 2024 तक मनुष्यों को चंद्रमा पर बसाने के साथ ही, मंगल जैसे अन्य ग्रहों के लिए भविष्य के मिशनों का समर्थन करने के लिए, चंद्र बस्तियों का निर्माण करने के लिए योजना बनाई है.
नासा का आर्टेमिस कार्यक्रम
इस आर्टेमिस कार्यक्रम के तहत, नासा वर्ष 2024 तक चंद्रमा पर पहली महिला और अगले पुरुष को उतारने की योजना बना रहा है. इस कार्यक्रम को अन्य अंतरिक्ष एजेंसियों द्वारा भी समर्थन दिया जाएगा.
नासा को उम्मीद है कि, चंद्रमा पर एक स्थायी उपस्थिति स्थापित करने के दीर्घकालिक लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए अंतर-राष्ट्रीय भागीदारी इस कार्यक्रम को अपने अगले स्तर तक ले जाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी.
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