दरअसल तुर्की के काले सागर तट से एक बड़े प्राकृतिक गैस का भंडार मिला है. इसके बाद तुर्की प्राकृतिक गैस के आयात पर देश की निर्भरता को कम करने में मदद करेगा.
तुर्की के राष्ट्रपति रेचैप तैय्यप अर्दोआन (Recep Tayyip Erdogan) ने 21 अगस्त 2020 को काला सागर (Black Sea) क्षेत्र में अब तक का सबसे बड़ा प्राकृतिक गैस भंडार की खोज की घोषणा की है. उन्होंने साथ ही कहा कि तुर्की का लक्ष्य 2023 तक इसका इस्तेमाल करने का है.
दरअसल तुर्की के काले सागर तट से एक बड़े प्राकृतिक गैस का भंडार मिला है. इसके बाद तुर्की प्राकृतिक गैस के आयात पर देश की निर्भरता को कम करने में मदद करेगा. इस खोज के बाद अब तुर्की की गैस के लिए विदेशी निर्भरता और कम हो जाएगी. राष्ट्रपति ने इसे तुर्की के इतिहास की सबसे बड़ी प्राकृतिक गैस की खोज बताया है.
मुख्य बिंदु
• तुर्की के राष्ट्रपति के मुताबिक, काला सागर में ‘फ़तेह नामक ड्रिलिंग जहाज़’ द्वारा खोजा गया यह गैस भंडार 320 अरब क्यूबिक मीटर का है.
• तुर्की ने साल 2023 तक इस गैस भंडार से गैस निकालकर इसका प्रयोग प्रारंभ करने का लक्ष्य रखा है.
• तुर्की द्वारा खोजा गया गैस का यह भंडार तुर्की के तट से लगभग 100 नॉटिकल मील उत्तर में काला सागर में स्थित है.
• तुर्की के ऊर्जा मंत्री के मुताबिक, गैस का यह भंडार पानी की सतह से 2100 मीटर की गहराई में स्थित है. इस भंडार से गैस निकालने के लिये समुद्र की तलहटी से 1400 मीटर नीचे तक ड्रिलिंग की जाएगी.
• तुर्की के राष्ट्रपति के मुताबिक, वे क्षेत्र में तेल और गैस की खोज को तब तक जारी रखेगा जब तक तुर्की ऊर्जा के मामले में पूर्णरूप से एक निर्यातक देश नहीं बन जाता है.
• तुर्की के वित्त मंत्री बेरात अलबायराक ने फ़तेह जहाज़ से ही वीडियो कॉन्फ़्रेंसिंग के ज़रिए कहा कि इसके ज़रिए उसके पास ज़रूरत की गैस का पर्याप्त भंडार होगा और उन्होंने इसे 'नया युग' बताया.
• विशेषज्ञों का कहना है कि अगर तुर्की इस गैस को निकालने में कामयाब हो जाता है तो उसे रूस से बेहद महंगी गैस का आयात नहीं करना पड़ेगा.
महत्त्व: एक नजर में
यह गैस भंडार तुर्की द्वारा खोजा गया और वर्ष 2020 में वैश्विक स्तर पर अब तक का सबसे बड़ा गैस भंडार है. यह गैस भंडार तुर्की की अर्थव्यवस्था को मज़बूती प्रदान करने और देश के चालू खाता घाटे को कम करने में बहुत ही सहायक होगा. वहीं वित्त मंत्री बेरात अलबायराक का कहना है कि इससे देश की अर्थव्यवस्था का सामने मौजूद चुनौती से उबरने में मदद मिलेगी.
खुदाई को लेकर विवाद
तुर्की को यह गैस भंडार ऐसे समय पर मिला है जब उसका यूनान के साथ पूर्वी भूमध्य सागर में तेल और गैस की खुदाई को लेकर विवाद चल रहा है. तुर्की और यूनान दोनों ही नाटो के सदस्य देश हैं. तुर्की द्वारा हाल ही में इस विवादित क्षेत्र में संभावित खनिज तेल और गैस भंडार की खोज के लिये एक जहाज़ भेजा गया था, जिसके बाद क्षेत्र में दोनों देशों के युद्धपोतों की सक्रियता बढ़ गई थी.
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