गंगापुत्र भीष्म जब गुरुकुल से शिक्षा पूर्ण करके राजमहल आये तो राजा शांतनु ने पूछा, कि पुत्र, सबसे महत्वपूर्ण बात क्या सीखा? भीष्म ने कहा: पिताजी, संसार में हर व्यक्ति कुछ न कुछ मांगना चाहता है और हर व्यक्ति कुछ न कुछ दे सकता है...
यह एक सार्वभौमिक सत्य है....ऐसा कोई पैदा नहीं हुआ जिसके पास सब कुछ हो. साथ ही, मनुष्य सामाजिक प्राणी है, अकेले सब कुछ नहीं कर सकता....कोई भी मनुष्य अकेले सामान्य जीवन नहीं जी सकता, निश्चय ही अवसाद का शिकार हो जाएगा....
इसलिए घुल मिल कर रहें, ‘मांगने’ में संकोच न किया करें और न ही देने में!
यह एक सार्वभौमिक सत्य है....ऐसा कोई पैदा नहीं हुआ जिसके पास सब कुछ हो. साथ ही, मनुष्य सामाजिक प्राणी है, अकेले सब कुछ नहीं कर सकता....कोई भी मनुष्य अकेले सामान्य जीवन नहीं जी सकता, निश्चय ही अवसाद का शिकार हो जाएगा....
इसलिए घुल मिल कर रहें, ‘मांगने’ में संकोच न किया करें और न ही देने में!
0 comments:
Post a Comment
We love hearing from our Readers! Please keep comments respectful and on-topic.